साइकिल पर सूप बेचने वाला आज बन गया 17 आउटले’ट्स का मालिक, लोग उड़ाते थे मजाक, नेपाल से आए थे भारत

आज के समय में हम दुनिया में जितने भी सफल लोगों को देखते हैं दरअसल उनकी सफलता के पीछे उनकी दृढ़ इच्छाशक्ति और मेहनत लगन जुड़ी हुई होती हैं। हम उनकी सफलता की खुशियां तो देख लेते हैं परंतु उसके पीछे जुड़े हुए संघर्ष को नहीं देख पाते।

साइकिल पर सूप बेचने वाला आज बन गया 17 आउटलेट्स का मालिक, लोग उड़ाते थे मजाक, नेपाल से आए थे भारत
साइकिल पर सूप बेचने वाला आज बन गया 17 आउटलेट्स का मालिक, लोग उड़ाते थे मजाक, नेपाल से आए थे भारत

व्यक्ति अपनी दृढ़ इच्छाशक्ति के बल पर दुनिया की बड़ी से बड़ी सफलता प्राप्त कर सकता है परंतु यदि व्यक्ति में इच्छाशक्ति का अभाव हो तो छोटे से छोटे मकान को हासिल करने में भी व्यक्ति नाकाम हो जाता है। इसी प्रकार की दृढ़ इच्छाशक्ति का परिचय देती हुई एक व्यक्ति की दास्तान हम आपको इस लेख में बताने जा रहे हैं जिसने काफी छोटे काम करके बड़ी सफलता को प्राप्त की।

 

आप में से कई लोगों ने मध्यप्रदेश के भोपाल में सागर गैरे नाम के फास्ट फूड कॉर्नर के बारे में तो सुना ही होगा। इस कैसे के द्वारा बेचा जा रहा फास्ट फूड भोपाल में काफी लोकप्रिय है। लोग काफी चारों से यहां के मिष्ठान ओं का स्वाद लेते हैं और यहां के टेस्ट की भी काफी प्रशंसा करते हैं। सागर गैरे फास्ट फूड कॉर्नर के मालिक का नाम डोलराज है।

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साइकिल पर सूप बेचने वाला आज बन गया 17 आउटलेट्स का मालिक, लोग उड़ाते थे मजाक, नेपाल से आए थे भारत

ड़ोलराज का जन्म नेपाल में हुआ था। परंतु डोलराज नेपाल छोड़कर भारत आ गया। डोलराज ने अपनी पढ़ाई भी भारत आकर ही की। दरअसल वे भारत में काम की तलाश से ही आए थे इसलिए पढ़ाई खत्म करने के बाद 2 महीने भारत में एक छोटी सी नौक’री ढूंढ ली और नौक’री करने लग गए।

 

नौकरी करते करते डोलराज का मन कभी स्थिर नहीं रहता था। वे अपने जीवन में कुछ नया और कुछ बड़ा करना चाहते थे। इसलिए अपनी नौ’करी करते समय भी डोलराज उसी बारे में विचार किया करते थे उन्हें भी नाम अचानक डोलराज के दिमाग में एक विचार आया कि क्यों ना फास्ट फूड बेचने का बि’जनेस किया जाए।

डोलराज ने बिल्कुल ऐसा ही करने के बारे में सोचा और वह नौकरी से 3:00 बजे छुट्टी मिलने के बाद अपनी साइकिल पर सूप बनाकर बेचने का काम करने लगे। शुरुआत में डोलराज को काफी मेहनत करनी पड़ी क्योंकि डोलराज के सूप का स्वाद लोगों को पता ही था। परंतु डोलराज अपने काम में सतत जुटे रहे।

डोलराज भोपाल की गलियों में घूम घूम कर साइकिल पर सूप बेचा करते थे। धीरे-धीरे स्थानीय लोगों को डोलराज के द्वारा बेचे जा रहे सुप का स्वाद काफी पसंद आने लगा।

साइकिल पर सूप बेचने वाला आज बन गया 17 आउटलेट्स का मालिक, लोग उड़ाते थे मजाक, नेपाल से आए थे भारत
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लोग डोलराज के आने का इंतजार करने लगे और उनके द्वारा बेचे जा रहे सुख को काफी सराहनीय लगे। धीरे-धीरे डोलराज ने अपना बिजनेस आगे बढ़ाया और भोपाल में ही एक फास्ट फूड कॉर्नर खोज लिया। डोलराज ने अपने फास्ट फूड कॉर्नर का नाम सागर गैरे रखा था।

सागर गैरे नाम से खोला गया डोलराज का यह फास्ट फूड कॉर्नर भी धीरे-धीरे लोगों के बीच में प्रचलित हुआ और आज समय ऐसा आ चुका है कि पूरे भोपाल में डोलराज के कुल 17 आउटलेट्स चल रहे हैं। डोलराज की इस सफलता के पीछे उनकी मेहनत और लगन का ही कमाल है। डोलराज ही नहीं रुकना चाहते हैं बल्कि आगे चलकर वे अन्य शहरों में भी अपना फास्ट फूड कॉर्नर खोलना चाहते हैं और इस दिशा में वह आगे भी बढ़ रहे हैं।

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